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क्राइम

बैंक अधिकारियों ने ही ग्राहक को लगाया चूना, सीक्रेट इंफोमेंशन बदल खाते में पड़े 31 लाख रुपये का खरीद लिया सोना

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बैंक अधिकारियों ने ही ग्राहक को लगाया चूना, सीक्रेट इंफोमेंशन बदल खाते में पड़े 31 लाख रुपये का खरीद लिया सोना

घर की जगह पैसा सुरक्षित रखने के लिए लोग बैंक का रुख करते हैं, लेकिन जब बैंक में पैसे सुरक्षा करने वाले अधिकारी ही साइबर ठगी में शामिल हो जाये तो किसी का पैसे कैसे सुरक्षित रह सकता है। इसी मामले में एसटीएफ उत्तराखंड ने सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के तीन अधिकारियों को गिरफ्तार किया है।

आरोप है कि इन बैंक अधिकारियों ने मिली भगत से बैंक में मां- बेटे के अकाउंट की सीक्रेट इंफोमेंशन बदलकर 31 लाख रुपये निकाल लिये। इतना ही नहीं आरोपियों ने इस रकम से ई कॉमर्स साइट से सोना खरीद लिया। पीड़ित मां बेटों को इसका पता काफी समय बाद बैंक खाते से रुपये निकालने जाने पर लगा। यहां पता चला कि उनके खाते में रुपये ही थे।

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ऐसे बैंक खातों में सेंध लगाते थे बैंक अधिकारी
पुलिस गिरफ्त में आए सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के अधिकारी मिली भगत कर बैंक ग्राहकों के खातों से जुड़े एसएमएस अलर्ट नंबर को बदल देते थे। इसी के बाद आरोपी उनकी रकम को धीरे धीरे ट्रांसफर, खरीदारी और खातों से निकाल लेते थे। पीड़ितों इसका पता बैंक पहुंचने पर लगता था। यहां से आरोपी उक्त ग्राहक को साइबर फ्रॉड के नाम पर टरका देते थे। इसी कड़ी में हर्रबटपुर थाना निवासी अतुल कुमार ने अपनी मां के साथ ज्वाइंट खाते से 30.95 लाख रुपये की रकम निकाले जाने की देहरादून साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन में शिकायत दी। उन्होंने बताया कि उनके साथ एसएमएस अलर्ट का नंबर बदलकर धोखाधड़ी से रुपये निकाले गये हैं। मामले की गंभीरता को देखते हुए साइबर थाना पुलिस की एक टीम बनाई गई।

साइबर पुलिस टीम की जांच में हुआ चौंकाने वाला खुलासा
इस मामले में साइबर टीम ने जांच शुरू की। पुलिस टीम ने सेट्रल बैंक ऑफ इंडिया धोखाधड़ी की जांच के लिए सबसे पहले ई मेल आईडी, ई वॉलेट, बैंक खातों की डिटेल, सीसीटीवी फुटेज और मोबाइल नंबर लेकर तफ्तीश शुरू की। इसमें पता चला कि बैंक अधिकारियों ने बैंक होल्डर्स की बिना अनुमति के उनके अकाउंट का एसएमएस नंबर बदल दिया। इसके नेट बैकिंग से लेकर ऑनलाइन तरीके से पीड़ितों के खातों में जमा 30.95 लाख रुपये का ई कॉमर्स साइट से सोना खरीद लिया। इतना ही नहीं आरोपी सोना बेचकर उसे कैश कर रहे थे।

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दिल्ली एनसीआर से पकड़े गये आरोपी
उत्तराखंड की एटीएस और साइबर क्राइम पुलिस ने जांच पूरी कर बैंक अधिकारियों को पकड़ने के लिए दिल्ली एनसीआर समेत हरियाणा और यूपी में छापेमारी शुरू की। इसबीच पुलिस ने धोखाधड़ी में शामिल सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के बैंक प्रबंधक को दिल्ली करोलबाग से गिरफ्तार किया। आरोपी से पूछताछ के बाद पुलिस ने उसके दो और सहयोगियों को गिरफ्तार किया है। इनमें एक ही पहचान देहरादून में सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया में AFO मो. आजम और दूसरे बैंक सहायक प्रबंधक कविश डंग के रूप में हुई। पुलस ने तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस ने आरोपियों के पास से लैपटॉप, 6 से ज्यादा मोबाइल फोन, डेटा कार्ड बरामद किये ळैं।

जरूर करें ये काम
– बैंक में समय समय पर फिजिकल रूप से जाये।
– बैंक खाते में जमा रुपयों की बीच बीच में जांच करते रहें।
– किसी भी तरह का संदेह होने पर बैंक अधिकारी और पुलिस से शिकायत करें।
– मोबाइल में जुड़े नंबर पर बैंक से आने वाले मैसेजों को जरूर जांचें।

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